छात्राओं से अश्लीलता के आरोपी प्राचार्य संजय श्रीवास्तव पर मामला दर्ज अभी गिरफ्तारी से दूर.

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छात्राओं से अश्लीलता के आरोपी प्राचार्य संजय श्रीवास्तव पर मामला दर्ज अभी गिरफ्तारी से दूर.

अनूपपुर/ जिले के जैतहरी थाना अंतर्गत आने वोले ग्राम पंचायत ठोड़ीपानी में संचालित शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के 5 छात्राओं ने प्रभारी प्राचार्य संजय श्रीवास्तव पर अश्लीलता के आरोप लगाए है। जैतहरी थाना में शनिवार को शिकायत दर्ज करने आई छात्राओं को 8 घंटे थाने में बैठाने के बाद 11 बजे रात बिना शिकायत दर्ज के वापस लौटा दिया गया। थाना में शिकायत देने के 24 घंटे तक कार्रवाई नहीं की गई थी। फिर दिनांक 21 अक्टूबर को शाम 7 बजे पुलिस ने आरोपी प्राचार्य पर धारा 354 पाक्सो एक्ट एसटी एससी के तहत एफआईआर दर्ज कर ली है।

शिक्षक पर अश्लील वीडियो दिखाने का आरोप

छात्राओं ने स्कूल के प्राचार्य संजय श्रीवास्तव पर छात्राओं को केबिन में बुला कर मोबाइल में अश्लील वीडियो दिखाने, बैड टच और अश्लील बातें करने के आरोप लगाए हैं। वहीं एक छात्रा ने बताया कि कॉम्पिटिशन एग्जाम ले जाने के बहाने शिक्षक बाइक में बैठा कर हग करने और गंदी हरकतें करने की कोशिश करता था।जिसके बाद बच्चियां परिजनों से बात कर थाने में मामले की शिकायत दर्ज करने पहुंची थी। शनिवार को छात्राओं की शिकायत पर प्राचार्य पर कोई कार्रवाई नहीं की गई थी। लगभग 24 घंटे के बाद सोमवार की शाम को पांच छात्राओं की शिकायत पर पुलिस ने आरोपी प्राचार्य संजय श्रीवास्तव पर धारा 354 पाक्सो एक्ट एससी एसटी के तहत मामला दर्ज कर लिया है।

थाना प्रभारी ने बताया 

इस पूरे मामले पर थाना प्रभारी जैतहरी पीसी कोल ने बताया कि पांच छात्रों की शिकायत पर आरोपी शिक्षक के खिलाफ धारा 354, पॉक्सो एक्ट और एससी-एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया गया हैं। फिलहाल आरोपी की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है,जल्द ही आरोपी को गिरफ्तार किया जाएगा।

परंतु अभी भी गिरफ्तारी से दूर 

शासन प्रशासन छात्र-छात्राओं को सशक्त करने के लिए अभिमन्यु अभियान चला रही है और ऐसी परिस्थितियों में कुकर्मी प्राचार्या जो रक्षक बनकर भक्षक होने का काम करने में महारत हासिल कर रहे हैं। बामुश्किल पुलिस प्रशासन के द्वारा छात्राओं के शिकायत बयान के 24 घंटे बाद मामला दर्ज किया गया और जनजाति कार्य विभाग के सहायक आयुक्त उनके अधिकारी इन्हें ट्रांसफर का कागज पकड़ा के झुनझुना दिखाने का काम कर रहे हैं ऐसे आसामाजिक प्राचार्य को सलाखों के पीछे करने के बजाय अभी भी खुले में आजादी से घूमने का मौका दिया जा रखा है।

Bhupendra Patel
Author: Bhupendra Patel

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