पशु डॉक्टर कर रहा इंसानों का इलाज पशुपालकों के शिकायत पर नोटिस जारी

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APRNEWS,भूपेंद्र पटेल उपसंपादक

अनूपपुर /जिले के सिंधौरा /पोड़ी पशु चिकित्सालय में पदस्थ चिकित्सक डॉ रामपाल पाटिल पर स्थानीय पशुपालकों ने गंभीर आरोप लगाए हैं , ग्रामीणों का कहना है कि श्री पाटिल पशुओं के इलाज की जगह मनमानी करते हुए आदमियों का इलाज कर रहे हैं, जिससे पशुपालक समुदाय भारी नुकसान झेल रहा है।ग्रामीण संतोष दुबे ने अपनी शिकायती पत्र से बताया कि जब पशुपालक उन्हें फोन करते हैं, तो वे कॉल उठाना भी जरूरी नहीं समझते। कभी मिल भी जाएं तो खुद को “कलेक्टर साहब का आदमी” बताकर बातों को टाल देते हैं। यह रवैया न केवल चिकित्सीय नैतिकता के खिलाफ है, बल्कि इससे स्थानीय किसानों के पशु असमय मर रहे हैं, जिससे उन्हें आर्थिक नुकसान भी हो रहा है।

पशु चिकित्सा विभाग ने जारी किया नोटिस साक्ष्य प्रस्तुत पर कार्यवाही

पोंडी पशु औषधालय में मानव उपचार की शिकायत, विभाग ने जारी किया कारण बताओ नोटिस। पशुपालकों द्वारा बार-बार बुलाए जाने के बावजूद डॉ पनिका पशुओं के इलाज में टालमटोल करते हैं, जिससे क्षेत्र के पशुपालकों को काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। इस शिकायत को संज्ञान में लेते हुए विकासखण्ड पशु चिकित्सा अधिकारी, जैतहरी द्वारा डॉ पनिका को कारण बताओ सूचना पत्र जारी किया गया है।जारी पत्र में श्री पनिका को निर्देशित किया गया है कि वे तीन दिवस के भीतर शिकायत पत्र में उल्लेखित शिकायतों पर बिंदुवार प्रतिवेदन प्रस्तुत करें तथा विगत माह की रोगी पंजी लेकर कार्यालय में उपस्थित हों। निर्धारित समयावधि में उत्तर न देने की स्थिति में उनके विरुद्ध एकपक्षीय अनुशासनात्मक कार्यवाही की चेतावनी दी गई है।

प्रतिलिपि उपसंचालक को भी सूचनार्थ प्रेषित की गई

यह मामला अब पूरे क्षेत्र में चर्चा का विषय बन गया है, और सभी की नजरें अब श्री पनिका द्वारा प्रस्तुत किए जाने वाले उत्तर तथा विभागीय कार्रवाई पर टिकी हुई हैं।स्थानीय लोग बताते हैं कि श्री पाटिल का व्यवहार अक्सर अभिमानपूर्ण रहता है और वह समय पर पशुओं की जांच या इलाज नहीं करते। वहीं दूसरी ओर, मनमाने ढंग से मानव मरीजों का इलाज कर पशु चिकित्सालय की मूल भावना का उल्लंघन कर रहे हैं।ग्रामीणों ने जिला प्रशासन और मुख्य पशु चिकित्साधिकारी से मांग की है कि इस मामले में संज्ञान लेकर संबंधित चिकित्सक पर उचित कार्यवाही की जाए, ताकि भविष्य में पशुपालकों को इस प्रकार की समस्याओं से न गुजरना पड़े।

APR NEWS
Author: APR NEWS

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